Noida: इस बिल्डर ने कागजों पर बेचे फ्लैट, जानकर हैरान रह जाएंगे। फ्लैट खरीदारी से पहले सावधानी जरूरी
Noida : नोएडा और ग्रेटर नोएडा में फ्लैट खरीदने वालों की ना परेशानियां कम हो रही हैं और ना ही मुश्किलें कम होने का नाम ले रही हैं। फ्लैट का पोजेशन मिल गया तो सुविधाएं नदारद हैं और फ्लैट नहीं मिला तो यह पता ही नहीं कि फ्लैट है भी या नहीं। नोएडा एक्सटेंशन से ऐसा ही एक चौंका देने वाला मामला सामने आया है। यहां एक बिल्डर ने करोड़ों रुपये में वो फ्लैट बेच दिए जो मौजूद ही नहीं हैं।
कहां का है मामला ?
चौंकिए मत यह पूरा मामला नोएडा (Noida) के लॉजिक्स ग्रीन ब्लास्म सोसाइटी का है। यहां बिल्डर ने एक कस्टमर को 16वें फ्लोर का एक फ्लैट बेच दिया। लंबे समय से कस्टमर्स अपने फ्लैट मिलने का इंतजार करते रहे। बाद में जब जांच हुई तो पता चला कि प्राधिकरण ने इस प्रोजेक्ट को सिर्फ ग्राउंड के साथ नौ फ्लोर बनाने की अनुमति दी थी। यानी बदमाश बिल्डर ने उस फ्लैट को भी बेच दिया जो रियल वर्ल्ड में था ही नहीं वह केवल बिल्डर के कागजों पर था।
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कैसे की धोखाधड़ी ?
https://gulynews.com को मिली जानकारी के मुताबिक पीड़ित आकाश सिंह ने साल 2014 में इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड के ब्लॉसम ग्रीन प्रोजेक्ट में 16वें फ्लोर पर 990 वर्गफीट का फ्लैट बुक किया। जिसकी कीमत 40.59 लाख रुपये बताई गई। आकाश ने दो बार में 24.81 लाख रुपये बिल्डर के खाते में जमा कर दिए। बिल्डर को 2018 में पजेशन देना था। पजेशन डेट निकलने के बाद आकाश ने नोएडा प्राधिकरण गया। पीड़ित को पता चला कि इस प्रोजेक्ट में नोएडा प्राधिकरण ने केवल 9 फ्लोर बनाने की अनुमति दी है।
क्या हुआ एक्शन?
धोखाधड़ी की जानकारी मिलने के बाद पीड़ित आकाश ने लॉजिक्स इंफ्राटेक प्रा.लि. के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है। कोर्ट के आदेश पर लॉजिक्स इंफ्राटेक प्रा.लि. के मालिक शक्ति नाथ उनकी पत्नी मीना नाथ, पुत्र विक्रम नाथ, करण इसरानी, मुकेश मोहन श्रीवास्तव एवं देवेंद्र मोहन सक्सेना को ठग मानते हुए कोतवाली सेक्टर-20 में मुकदमा दर्ज किया गया है।
चौंकाने वाली बात यह है कि इस तरह के धोखाधड़ी के शिकार होने वाले आकाश अकेले नहीं हैं। आकाश समेत कई लोगों को लॉजिक्स इंफ्राटेक प्रा.लि. ने अपने धोखे का शिकार बनाया है। जानकारी के अभाव में ऐसे लोगों से करोड़ों रुपये डकार लिए हैं।
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