स्मार्ट सिटी नोएडा को योगी सरकार की बड़ी सौगात, नोएडा के लोगों को मिलने वाली है खास सुविधा, चलेगी देश की पहली पॉड टैक्सी
उत्तर प्रदेश का नोएडा स्मार्ट सिटी में शुमार है। अभी से स्मार्ट सिटी को और मॉडल और हाईटेक बनाने के लिए सरकार ने नई पहल की है। इस पहल के तहत नोएडा में देश की पहली पॉड टैक्सी चलाई जाएगी।
क्या है फैसला
यमुना अथॉरिटी एरिया (यीडा) में निर्माणाधीन नोएडा इंटरनैशनल एयरपोर्ट और प्रस्तावित फिल्म सिटी के बीच देश की पहली पॉड टैक्सी चलेगी। लखनऊ में मंगलवार को हुई बैठक के बाद शासन ने इसकी मंजूरी दे दी।
14 जून को मीटिंग
14 जून को अथॉरिटी में इस प्रॉजेक्ट को लेकर मीटिंग होगी उसके बाद ग्लोबल टेंडर जारी किए जाएंगे। इस प्रॉजेक्ट को बनाने में 631 करोड़ रुपए खर्च होंगे और मार्च 2026 तक प्रॉजेक्ट को पूरा करने का टारगेट है। संचालन करने वाली कंपनी का 35 साल का अनुबंध होगा।
यमुना प्राधिकरण ने क्या कहा
यमुना प्राधिकरण के सीईओ डॉ. अरुण वीर सिंह ने बताया कि नोएडा एयरपोर्ट से उड़ान शुरू होने के साथ ही यह ट्रैक पर दौड़ने लगेगी। नोएडा एयरपोर्ट से फिल्म सिटी तक 14.6 किमी लंबा इसका रूट होगा। इस पर 12 स्टेशन बनेंगे। एयरपोर्ट समेत फिल्म सिटी, हैंडीक्राफ्ट पार्क, सेक्टर 29, सेक्टर 32-33, एमएसएमई पार्क, टॉय पार्क सहित अन्य जगहों को ये कनेक्ट करेंगी। पॉड टैक्सी के 112 कोच होंगे। एक पॉड में 6 से 24 यात्रियों सफर कर सकेंगे। यहां चलने वाली पॉड टैक्सी ड्राइवरलेस होंगी।
सीईओ ने बताया कि यमुना प्राधिकरण के एरिया में पहले से बन चुके 60, 75 और 100 मीटर रोड के बीच में ये पॉड टैक्सी चलेगी। लंदन के हीथ्रो एयरपोर्ट की तरह दुनिया के चार देशों में ही एयरपोर्ट पर विमान यात्रियों के लिए पॉड टैक्सी की सुविधा मौजूद है। वैसी ही सुविधा नोएडा इंटरनैशनल एयरपोर्ट पर आने वालों को मिलेगी। लंदन के अलावा दुबई, दक्षिण कोरिया और वर्जिनिया में एयरपोर्ट पर यह सुविधा है।
10 रुपये प्रति किमी होगा किराया
पॉड टैक्सी सर्विस शुरू होने के बाद इसका किराया 10 रुपये प्रति किलोमीटर के हिसाब से वसूला जाएगा। 40 किलोमीटर प्रति घंटा की स्पीड से और टैक्सी चलेगी। भविष्य में यात्रियों की संख्या को देखते हुए स्पीड कम ज्यादा भी की जाएगी। सेफ्टी के तमाम उपकरण मौजूद रहेंगे।
हर दिन 37,000 लोग कर सकेंगे यात्रा
पॉड टैक्सी जेवर एयरपोर्ट को फिल्म सिटी से कनेक्ट करेगी। शुरुआती अनुमान के अनुसार, हर दिन लगभग 37 हजार लोग पॉड टैक्सियों के माध्यम से यात्रा कर सकेंगे। शीशे के केबिन से बाहर का नजारा भी आराम से यात्री देख सकेंगे। बीच में कई जगह सेल्फी पॉइंट भी दिए जाएंगे। पॉड टैक्सी का रूट सेक्टरों के बीच से है। यहां बन रहे हैंडीक्राफ्ट पार्क, टॉय पार्क, मेडिकल डिवाइस पार्क में आने वाले लोगों को इससे फायदा मिलेगा।
प्रॉजेक्ट की मंजूरी से पहले कराई गई स्टडी
इस प्रॉजेक्ट को मंजूरी देने से पहले यीडा ने जिन देशों में पॉड टैक्सी चल रही है, वहां स्टडी की। इसके फायदे और नुकसान के बारे में पता किया, उसके बाद ही रिपोर्ट शासन को भेजी गई थी। दुनियाभर के 18 देशों में पॉड टैक्सी शुरू की गई थी, लेकिन वर्तमान में 8 देशों में चल रही हैं। प्रॉजेक्ट से जुड़े अधिकारियों ने 2011-12 की रिपोर्ट का हवाला देते हुए बताया है कि लंदन की पॉड टैक्सी सर्विस मुनाफे में चल रही है, जबकि अबू धाबी में यह प्रॉजेक्ट घाटे में चल रहा है।
क्या है पॉड टैक्सी
पॉड टैक्सी उन इलाकों के लिए यातायात का सबसे सही साधन है, जहां काफी भीड़भाड़ हो और जमीन पर ट्रैफिक के लिए और साधन बनाने की जगह न हो। यूरोपीय देशों का यह एक पसंदीदा साधन है। एक पॉड टैक्सी में 4 से 6 लोग आराम से बैठ सकते हैं और इसे चलाने के लिए ड्राइवर की जरूरत भी नहीं होती है। 60 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से चलने वाली इस टैक्सी को सोलर एनर्जी से भी चलाया जा सकता है। इन्हें जमीन से ज्यादा से ज्यादा 5-10 मीटर की ऊंचाई पर ही चलाया जाता है।