Unwanted Calls Guidelines: अनचाहे कॉल से मिलेगा छुटकारा, सरकार ने उठाया बड़ा कदम, यहां जानें पूरी खबर
Unwanted Calls Guidelines: अगर आप भी रोजाना अनचाही कॉल्स से परेशान हैं, तो ये खबर आपके लिए ही है।अनचाही कॉल से छटकर दिलाने के लिए सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। टेलीकॉम उपभोक्ताओं को अनचाही कॉल से राहत देने के लिए सरकार ने गाइडलाइन्स जारी करने के लिए कमेटी का गठन किया है। दूरसंचार विभाग ने कहा है कि प्रमोशनल और अनचाही कॉमर्शियल कॉल उपभोक्ताओं की गोपनीयता और अधिकारों का उल्लंघन करती हैं। टेलीकॉम उपभोक्ताओं को अनचाही और प्रमोशनल कॉल्स से राहत देने के लिए सरकार ने कमर कस ली है। सरकार ने गाइडलान्स बनाने के लिए कमेटी का गठन किया है।
क्या है पूरा मामला
बतादें, टेलीकॉम उपभोक्ताओं को अनचाही कॉल (Unwanted Calls Guidelines) से राहत देने के लिए सरकार ने गाइडलाइन्स जारी करने के लिए कमेटी का गठन किया है। दूरसंचार विभाग ने कहा है कि प्रमोशनल और अनचाही कॉमर्शियल कॉल उपभोक्ताओं की गोपनीयता और अधिकारों का उल्लंघन करती हैं। टेलीकॉम उपभोक्ताओं को अनचाही और प्रमोशनल कॉल्स से राहत देने के लिए सरकार ने कमर कस ली है। सरकार ने गाइडलान्स बनाने के लिए कमेटी का गठन किया है। उपभोक्ता मामले के सचिव ने कहा है कि प्रमोशनल और अनचाही कॉमर्शियल कॉल उपभोक्ताओं की गोपनीयता और अधिकारों का उल्लंघन करती हैं। आपको बता दें कि DoCA के सचिव,रोहित कुमार सिंह की अध्यक्षता में, विभाग ने 14 फरवरी, 2024 को कष्टप्रद/प्रचारात्मक/अनचाही व्यावसायिक कॉलों से संबंधित मुद्दों पर चर्चा करने के लिए एक बैठक बुलाई थी।
समिति का किय गया है गठन, शामिल होंगे इन बड़ी एजेंसी के सदस्य
अनचाही प्रमोशनल कॉल से परेशान ग्राहकों को राहत देने के लिए भारत सरकार ने एक समिति का गठन किया है। इस कमेटी में सेलुलर उद्योग, दूरसंचार विभाग (DOT), दूरसंचार विभाग जैसे नियामक निकायों के सदस्य शामिल हैं। वित्तीय सेवाएं (डीएफएस), आवास और शहरी मामलों का मंत्रालय भारतीय रिजर्व बैंक, बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण (आईआरडीए), दूरसंचार विभाग (डीओटी), वित्तीय सेवा विभाग (डीएफएस), ट्राई, सेल्युलर ऑपरेशंस एसोसिएशन ऑफ इंडिया (COAI), टेलीमार्केटिंग कंपनियां, वीसीओ गाइडलाइन्स का मसौदा तैयार करेंगे।
इन क्षेत्र की कंपनियां ग्राहकों को करती है सबसे ज्यादा कॉल
दूरसंचार सचिव की मीटिंग में प्रमोशनल कॉमर्शियल कॉल को लेकर चर्चा की गई। इसमें यह देखा गया कि ये कॉल न केवल ग्राहकों की प्राइवेसी ही नहीं, बल्कि उपभोक्ताओं के अधिकारों का भी उल्लंघन करती हैं। ज्यादातर कॉलें फाइनेंशियल सर्विस से आती हैं और उसके बाद रियल एस्टेट का नंबर आता है। यह भी बताया गया कि स्पैम कॉल करने वाले अब इंटरनेट कॉल पर स्विच कर रहे हैं, विशेष रूप से ग्राहकों को पोंजी योजनाओं, क्रिप्टो निवेशों और नौकरी के अवसरों की पेशकश करने के लिए वॉट्सऐप का उपयोग कर रहे हैं।
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140 नंबर सीरीज इस्तेमाल करने के लिए दिया है आदेश
बैंकिंग और वित्तीय सेवाओं, रियल एस्टेट, ई-कॉमर्स प्लेटफार्मों और अन्य वाणिज्यिक संस्थाओं को पहले ही सलाह दी गई है कि वे अपने फोन नंबर से पहले 140 नंबर श्रृंखला लगवाएं। इससे उपभोक्ता कॉल करने वाले की पहचान कर सके। यह ग्राहकों को इस बात पर अधिक नियंत्रण देता है कि वे किस प्रकार की कॉल या टेक्स्ट प्राप्त करना चाहते हैं। कई अनरजिस्टर्ड टेलीमार्केटर्स इन प्रावधानों का पालन नहीं करते हैं। बैठक में इस बात पर जोर दिया गया कि सभी टेलीमार्केटर्स को इन सक्षम प्रावधानों का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित करना चाहिए।