Noida Metro: खुशखबरी, तैयार होगा सेक्टर-142 से बोटेनिकल गार्डन मेट्रो कॉरिडोर…
Noida Metro: नोएडा (Noida Metro)एक्वा लाइन मेट्रो का विस्तार कर नोएडा सेक्टर-142 से बोटेनिकल गार्डन तक का 11.56 किमी लंबा मेट्रो कॉरिडोर बनाया जाएगा। पांच साल में बनकर तैयार होने वाले कॉरिडोर की लागत करीब 2254.35 करोड़ होगी। दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड (डीएमआरसी) ने इसकी डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार कर नोएडा मेट्रो रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड (एनएमआरसी) को सौंप दी है। अब इस कॉरिडोर के आगे की प्रक्रिया शुरू होगी। डीपीआर के मुताबिक इस कॉरिडोर से नोएडा, ग्रेटर नोएडा समेत दिल्ली मेट्रो के नेटवर्क यानी एक्वा लाइन, ब्लू लाइन और मजेंटा लाइन आपस में जुड़ जाएंगे। इससे नोएडा-ग्रेटर नोएडा से दिल्ली-एनसीआर के किसी भी कोने में जाने में सहूलियत होगी।
मेट्रो कॉरिडोर पर आठ स्टेशन होंगे
इस मेट्रो कॉरिडोर (Noida Metro)पर बोटेनिकल गार्डन, नोएडा सेक्टर-44, नोएडा ऑफिस, नोएडा सेक्टर-97, नोएडा सेक्टर-105, नोएडा सेक्टर-108, नोएडा सेक्टर-93, और पंचशील बालक इंटर कॉलेज स्टेशन बनाए जाएंगे। कॉरिडोर का आखिरी स्टेशन सेक्टर-142 होगा जो कि पहले ही बनकर तैयार है।
बोटेनिकल गार्डन बनेगा और बड़ा इंटरचेंज स्टेशन
बोटेनिकल गार्डन इन लाइनों के लिए और बड़े इंटरचेंज स्टेशन के तौर पर काम करेगा। सबसे पहले यह ब्लू लाइन के एक स्टेशन के तौर पर तैयार किया गया था। इसके बाद यहां से मजेंटा लाइन जुड़ गई। इससे ओखला पक्षी अभ्यारण्य स्टेशन होते हुए दिल्ली की ओर कॉरिडोर तैयार किया गया। इसके साथ ही यह इंटरचेंज स्टेशन के तौर पर जाना जाने लगा। अब यहां से एक्वा लाइन विस्तार के कॉरिडोर को भी जोड़ने की योजना तैयार हो गई है। लिहाजा यहां से रिकॉर्ड यात्री अलग-अलग कॉरिडोर में जाने के लिए मेट्रो ले सकेंगे।
नोएडा, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण को भेजी जाएगी डीपीआर
एनएमआरसी की ओर से नोएडा और ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण से मंजूरी के लिए डीपीआर भेजी जाएगी। यहां से मंजूरी के बाद इसे एनएमआरसी के बोर्ड बैठक में रखा जाएगा। बोर्ड से मंजूरी के बाद इसे यूपी और केंद्र सरकार से मंजूर कराना होगा।
एक साल मंजूरी और चार साल निर्माण में लगेगा
एनएमआरसी के अधिकारियों के मुताबिक डीपीआर तैयार होने के बाद इसकी मंजूरी में करीब एक वर्ष का समय लगेगा। इसके बाद सबकुछ ठीक रहा तो कॉरिडोर निर्माण के लिए टेंडर निकाले जाएंगे। फिर एजेंसी चयन के बाद निर्माण कार्य शुरू होगा। इसमें करीब चार वर्ष लगेंगे। ऐसे में कॉरिडोर का काम पूरा होने तक करीब पांच वर्ष का समय लगेगा।
नोएडा से ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे की ओर बांयी तरफ होगा कॉरिडोर
यह मेट्रो कॉरिडोर नोएडा से ग्रेटर नोएडा की ओर जाने के क्रम में बांयी ओर होगा। हालांकि एक्सप्रेसवे के दूसरे ओर के लोगों को सुविधा दिलाने के लिए फुटओवर ब्रिज आदि तैयार करने की योजना है। इसके माध्यम से दोनों ओर के रिहायशी, ऑफिस एरिया, स्कूल और कॉलेज जोड़े जाएंगे। इसकी मदद से आवागमन आसान करने की कोशिश होगी।
मेट्रो स्टेशनों के आसपास होगी पार्किंग
योजना के मुताबिक मेट्रो स्टेशनों और आसपास पार्किंग की व्यवस्था होगी ताकि यहां आने वाले लोगों को वाहन पार्किंग की सहूलियत मिल सके। एक्वा लाइन कॉरिडोर की गलतियों से सबक लेते हुए इसमें सुधार आदि किया जाएगा। कोशिश यह होगी कि ज्यादा से ज्यादा लोगों को पार्किंग की सुविधा मिल सके।