Ghaziabad news: गाजियाबाद में रिश्वत लेते पकड़ा गया JE, 17 लाख का बिल पास करने के बदले में ले रहा था घूस
Ghaziabad news: गाजियाबाद (Ghaziabad news) से एक बड़ी खबर सामने आ रही है. यहां मेरठ की एंटी करप्शन यूनिट (anti corruption unit meerut) ने ग्रामीण अभियंत्रण विभाग (Rural Engineering Department) के जेई सुभाष चंद्र शर्मा को एक लाख रुपये की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा है. जानकारी के अनुसार, 17 लाख रुपये का बिल पास करने की एवज में ठेकेदार से ये रिश्वत ली गई थी. एंटी करप्शन इंस्पेक्टर की ओर से थाना कविनगर में आरोपी जेई के खिलाफ भ्रष्टाचार का मुकदमा दर्ज कराया गया है. मामला गुरुवार का है.
क्या है मामला ?
मेरठ के मोदीपुरम निवासी राहुल गुप्ता ठेकेदार हैं, और श्री गणेश सीमेंट एजेंसी (Shree Ganesh Cement Agency)
नाम से उनकी फर्म है. इस फर्म को गाजियाबाद में ग्रामीण अभियंत्रण विभाग से मुख्यमंत्री आर्थिक विकास योजना (Chief Minister Economic Development Scheme) के तहत नाली-खड़ंजे और सड़क बनाने के ठेके मिले हुए हैं. राहुल गुप्ता के अनुसार, मुरादनगर क्षेत्र में उन्होंने अप्रैल महीने में काम पूरा किया.डीएम की ओर से गठित गुणवत्ता कमेटी ने इस काम की दो बार OK रिपोर्ट तक दी. इसके बावजूद उनका 17 लाख रुपए का एक बिल पास नहीं किया जा रहा था. ठेकेदार के मुताबिक, जेई सुभाष चंद्र शर्मा ने इस बिल को पास कराने की एवज में 3 लाख रुपए रिश्वत मांगी. एक लाख रुपए पर बात बन गई. जेई ने गुरुवार को रिश्वत के लिए ठेकेदार को बुलाया था.
जेई ने रिश्वत के लिए ठेकेदार को यहां बुलाया
गाजियाबाद में विकास भवन के सामने कई सारी कैंटीन बनी हुई हैं. इसी कैंटीन में एक कुर्सी पर बैठे जेई सुभाष चंद्र शर्मा ने ठेकेदार राहुल को एक लाख रुपए रिश्वत लेकर बुलाया था. इधर, राहुल ने पहले ही एंटी करप्शन टीम को इसकी जानकारी दे दी थी, पहले से बनाए गए प्लान के अनुसार राहुल ने जैसे ही जेई को रकम थमाई, वैसे ही एंटी करप्शन यूनिट ने जेई को रिश्वत लेते रंगे हाथों धर दबोचा. टीम आरोपी जेई को कविनगर थाने में ले गई है. यहां उसके खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया है.
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ठेकेदार राहुल गुप्ता के अनुसार, इस विभाग में उनकी करीब 60 लाख रुपए की पेमेंट अटकी पड़ी है. हर बिल पर रिश्वत वसूलने का रिवाज यहां पुराना है. वे करीब 3 साल से इसी तरह रिश्वत देकर अपना पेमेंट निकलवाते हैं, लेकिन अब वे ज्यादा तंग आ गए थे. जिसके बाद उन्होंने ये कार्रवाई की.