नेशनल हाइवेज पर 3,750 Black Spots, मौत की बनी बड़ी वजह
आए दिन हो रहे रोड एक्सीडेंट्स, किसी से छिपे नहीं है। ऐसे में जब आंकड़ों की बात हो और परिवहन मंत्रालय खुद संसद में आंकड़े पेश करें तो देश का हाल पता चलता है।
परिवहन मंत्रालय ने जानकारी दी कि देश के नेशनल हाइवेज (NH) पर 3,750 Black Spots हैं। ये वो जगहें हैं जहां बार-बार एक्सीडेंट्स होते हैं। बात दें, किसी एक स्पॉट पर तीन साल में पांच रोड एक्सीडेंट्स हो जाएं या किसी स्पॉट पर 3 साल में 10 मौतें हो जाएं तो उसे Black Spot माना जाता है।
Black spot पर एक्सीडेंट्स रोकने की तैयारी
मंत्रालय ने इन जगहों को Zero Fatality Spots बनाने की योजना की है। मतलब ये है कि जहां एक भी एक्सीडेंट ना हो। ध्यान देने की बात ये है कि किस लक्ष्य को पूरा कैसे किया जाएगा।
भारत में हो रहे एक्सीडेंट्स
भारत के टोटल रोड नेटवर्क में नेशनल और स्टेट हाइवेज केवल 5 प्रतिशत हैं लेकिन सोचने की बात है कि इन्हीं 5 प्रतिशत सड़कों पर 48 प्रतिशत एक्सीडेंट्स होते हैं। जानकारी के मुताबिक, देश में हर साल 5 लाख एक्सीडेंट होते हैं। जिनमें से हर साल 1.5 लाख लोगों की मौत हो जाती है। खास बात ये है कि इन मरने वालों में से 65 प्रतिशत लोग 18 से 45 साल की उम्र के बीच के होते हैं। बॉर्डर रोड ऑर्गनाइजेशन यानी BRO के मुताबिक भारत 2020 में रोड एक्सीडेंट्स से होने वाली मौत में तीसरे नंबर पर है।